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ओ चाँद आ पास मेरे

ओ चाँद आ पास मेरे ,
         कुछ बात करें ...,
तू लिए घूमता तारों के ...
                        बाराती ,
तुझ बिन ये गगन अधूरा है ...
तेरी बातें , ये रातें याद आती ।

ओ चाँद आ पास मेरे .
        कुछ दिल की बात करें ,
जो तुम्हारे मन में ...
                     है वो बात करें ।

तुम्हारे जीवन के
         हर अमावस हरा करूँ .,
तू भी अगर मेरे जीवन में..
             पूनम बना करे   ।।
तुम थक जाओगी इस गोले का चक्कर लेते ......
           हर कदम मैं साथ चला करूँ ।।

सूरज की सत्ता में पहचान दिलाऊँगा ...
बस तू मेरे कंधे पे हाथ रखे ।

हम नए सूरज उगाएंगे ..
          जो तुम्हारा सम्मान करे ।।

ओ चाँद आ पास मेरे ...
             कुछ बात करें .,
बिन तुम ......
               ना रात कटे ।।

चंद्रप्रकाश बहुगुणा / माणिक्य /पंकज

       

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